Vande Bharat trains: देश के विभिन्न हिस्सों में ट्रेनों के साथ छेड़छाड़ की घटनाएँ बढ़ती जा रही हैं। पिछले 24 घंटों के दौरान, दो वंदे भारत ट्रेनों पर पथराव की घटनाएँ सामने आई हैं। पहली घटना बुधवार रात को लखनऊ-पटना वंदे भारत ट्रेन पर हुई, जबकि दूसरी घटना गुरुवार सुबह रांची-पटना वंदे भारत ट्रेन पर हुई। आइए जानते हैं इन घटनाओं के बारे में विस्तार से।
लखनऊ-पटना वंदे भारत पर पथराव
बुधवार रात को लखनऊ से पटना की ओर जा रही वंदे भारत ट्रेन पर पथराव किया गया। इस पथराव में ट्रेन के C-5 कोच की खिड़कियाँ टूट गईं। प्राप्त जानकारी के अनुसार, यह घटना ट्रेन के वाराणसी स्टेशन को छोड़ने के बाद हुई। इस घटना में किसी यात्री के घायल होने की रिपोर्ट नहीं है। वर्तमान में पुलिस ने इस मामले में एक मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है। रेलवे भी इस मामले की जांच कर रहा है और सुरक्षा उपायों को बढ़ाने की योजना बना रहा है।
रांची-पटना वंदे भारत पर पथराव
दूसरी ओर, झारखंड के हजारीबाग में गुरुवार सुबह रांची-पटना वंदे भारत ट्रेन पर भी पथराव हुआ। रेलवे ने बताया कि 24 घंटों के भीतर दो वंदे भारत ट्रेनों पर समान तरीके से हमला किया गया। वंदे भारत ट्रेन नंबर 22350 के ई-1 बोगी पर पथराव किया गया। खिड़कियाँ, विशेषकर सीट नंबर पांच और छह के पास की खिड़कियाँ, इस पथराव में टूट गईं। यह घटना हजारीबाग के चारही और बेस रेलवे स्टेशन के बीच हुई।
सूत्रों के अनुसार, पथराव के कारण खिड़कियाँ बुरी तरह से चकनाचूर हो गईं। इस घटना में ट्रेन में बैठे किसी भी यात्री को कोई चोट नहीं आई। रेलवे के अनुसार, CCTV फुटेज के माध्यम से अराजक तत्वों की पहचान करने के प्रयास किए जा रहे हैं। रेलवे सुरक्षा बल (RPF) ने इस मामले में FIR दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
पथराव की घटनाओं का असर और प्रतिक्रिया
इन घटनाओं ने रेलवे प्रशासन और सुरक्षा एजेंसियों के लिए चिंता का विषय उत्पन्न कर दिया है। वंदे भारत ट्रेनों की सुरक्षा को लेकर उठते सवाल और यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने की चुनौती अब पहले से भी अधिक महत्वपूर्ण हो गई है। पथराव की घटनाएँ न केवल ट्रेन की संरचना को नुकसान पहुंचाती हैं, बल्कि यात्रियों की सुरक्षा को भी खतरे में डालती हैं।
रेलवे प्रशासन ने इन घटनाओं के प्रति गंभीर प्रतिक्रिया व्यक्त की है। सुरक्षा उपायों को बढ़ाने के साथ-साथ रेलवे ने आम जनता से अपील की है कि वे ट्रेनों की सुरक्षा को लेकर सतर्क रहें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत दें।
अन्य सुरक्षा उपाय और भविष्य की योजनाएँ
इन घटनाओं के मद्देनजर, रेलवे सुरक्षा बल और अन्य संबंधित एजेंसियाँ सुरक्षा प्रोटोकॉल को कड़ा करने पर विचार कर रही हैं। CCTV निगरानी को बढ़ाया जाएगा और पथराव की घटनाओं की रोकथाम के लिए विशेष गश्त की जाएगी।
इसके अलावा, यात्रियों की सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए और भी कई उपाय किए जाएंगे। रेलवे प्रशासन का कहना है कि वे इन घटनाओं की जाँच के आधार पर भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति को रोकने के लिए आवश्यक कदम उठाएंगे।
उपसंहार
वंदे भारत ट्रेनों पर पथराव की ये घटनाएँ न केवल रेलवे सुरक्षा के लिए एक चुनौती हैं, बल्कि यात्री सुरक्षा और ट्रेनों के सुचारू संचालन के लिए भी एक महत्वपूर्ण मुद्दा हैं। रेलवे और सुरक्षा एजेंसियों को चाहिए कि वे इस समस्या की गंभीरता को समझते हुए तत्काल और प्रभावी कदम उठाएँ। इन घटनाओं के बाद उठाए गए कदम और सुरक्षा उपाय ही भविष्य में ऐसी घटनाओं की रोकथाम में सहायक हो सकते हैं। यात्रियों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने के साथ-साथ रेलवे को तकनीकी और प्रशासनिक सुधार भी सुनिश्चित करने होंगे ताकि सार्वजनिक परिवहन का यह महत्वपूर्ण साधन सुरक्षित और सुचारू रूप से चल सके।